Tag Archives: My Poetry
खामोशी – It’s better to remain silent.
दिल की बातें अक्सर जाहिर किया मैंने,कहीं न जताने की अफसोस ना रहजाए…आज सोचती हूं अब खामोश ही रहलूं,और काश वो मेरी खामोशी समझपाए… अगर हो असर उनपे मेरी खामोशी की,तो ये मेरे हाल बयान करदेंगे..अगर ना हो असर उनके जेहन में,तो मेरे होने ना होने की किस्सा बयान कर जायेंगे.. ✍🏻 Prabhamayee Parida
Faristey
अब भी दुनिया में कुछ लोग ऐसे मिलते हैं,जो तुम्हे अपने हुनर से रूबरू कराते हैं,फरिश्ते बनकर तुम्हारी ज़िंदगी भी सवार दे..और खुद पर यकीन रखने की हिम्मत भी जगा दे.. अकसर ये लोग होते हैं पल भर के मेहमान,मगर ज़िंदेगी भर के लिए यादें छोड़ जाते हैं…शायद कोई मिले ना उस जैसा, जो उसकीContinue reading “Faristey”
Motherhood Happiness
खुद से कर प्यार..
नादान थी पहले जो दूसरों पर इल्जाम लगाती थी,अपनी तकलीफों के लिए औरों को जिम्मेदार ठहराती थी, वक्त यूं गुजरता चला,खुद को ये मन बहलाता चला,किया भी शिद्दत औरों को खुश करने की,फिर भी प्यार में ठोकर मिलता चला, दिल को भुल कर जब दिमाग से किया सवाल,जवाब ये मिला “तुम हो बेमिसाल”,मगर गलती औरोंContinue reading “खुद से कर प्यार..”
खुद पे एहसान ना कर
खुद पे एहसान ना कर,जो दिल करे कर तू बेफिकर.. लोग रोकेंगे,बस तू रुक ना जाना,कभी टोके तो पीछे मुड़ ना जाना…माना की सफर आसान नही होगा,पर तू घबरा ना जाना..कभी ठोकर से गिर भी जाए,तो खुद को तू संभाल ही लेना… सफर में मुसाफिर भी मिलेंगे,कुछ भटका देते हैं तो कुछ सही राह भीContinue reading “खुद पे एहसान ना कर”
Reply to “wo purane din”
चलो फिर से पुराने दिन को जीने की कोशिश करते हैं…अकेले नहीं, चलो हम साथ में कदम बढ़ाते हैं… मंजिल का भले ही पता न हो, मगर किसी भी राह को चुन लेते हैं…पहले औरों के खता से टूट गए थे, आज चलो खुद ही खता करलेते हैं…. आज चलो हम फिर से पुराने दिनContinue reading “Reply to “wo purane din””
Confusion
कश्मकश
इस कश्मकश में खुद को उलझाए रखा था हमने,आसमान को जमीन से मिलाने की जिद्द जो की थी हमने,हर नामुमकिन कोशिश भी किया,और नतीजे की परवा न किया,थी जुनून आसमान में खुशियों का रंग बिखेरू..थी शिद्दत जमीन के इश्क से आसमान को करूं रूबरू.. अब जब हुआ सबेरा,और पर्दा उठा इस बेवकूफी से..चाहे करे कोशिशContinue reading “कश्मकश”
Self-assessment
सवाल ये नहीं की तुझे कोई समझा क्यूं नही,क्यूं की तेरी सख्शीयत उनके सोच के परे है..सवाल ये नहीं की तेरे जज्बातों को किसीने सुना क्यूं नही,क्यूं की वो मसरूफ है दिखावे में, की एहसास उनके समझ के परे है… तू क्या है ये तू खुद है जानता..तेरी काबिलियत ये दुनिया है मानता.. एक दफाContinue reading “Self-assessment”